शीतला माता की सच्ची कहानी (1 true story ) गरीबी दूर करे माता रानी की पूजा करके
शीतला माता की सच्ची कहानी (1 true story ) गरीबी दूर करे माता रानी की पूजा करके
एक बार शीतला माता कौन कौन मेरी पूजा करता है ये देखने के लिए धरती पर राजस्थान के एक छोटे से गांव में आई, माता शीतला एक बूढी औरत का रूप लेकर गांव की गलियों में घूम रही थी ,तभी एक औरत ने ऊपर से चावल का गर्म पानी निचे फेंक दिया वो पानी माता रानी के शरीर पर गिर गया और छाले पड़ गए तभी माता सहायता के लिए चिल्लाई पर किसी ने उनकी सहायता नहीं की तभी अपने घर के बाहर एक कुम्हारण महिला बैठी थी उनसे माता से कहा की माँ तू बहुत जल गयी है यहां बैठ जाओ मै तुम्हारे शरीर के ऊपर ठंडा पानी डालती हु कुम्हारन ने माता के ऊपर खूब सारा ठंडा पानी डाला और रात की बनी हुई दही और ज्वार के आटे की रावड़ी माता को खिलाई जिससे उनके शरीर में बहुत ठंडक पड़ी कुम्हारन ने माता से कहा आपके बाल बहुत बिखर गए है लाओ मै तुम्हारी चोटी बना देती हु जब वह चोटी बनाने लगी तो उसने बालो में छिपी हुई माता की तिसरी आँख देखी वह डर के मारे चीला कर भागने लगी,![]() |
शीतला माता मंदिर |
तभी माता ने अपना परिचय दिया और कहा डरो मत मै माँ शीतला हूँ मै तुम्हारी सच्ची भावना और इतने अच्छे विचारो से बहुत खुश हूँ तभी माता अपने असली रूप में आ गई वह माता को देख कर चौंक गयी और बोली माँ मै तुम्हे कहा बैठाऊ मेरे घर में बहुत गरीबी है यह कहकर रोने लगी तभी माता ने उसके घर की गरीबी को दूर कर दिया और बोली बोलो बेटी तुम्हे क्या चाहिए मै तुमपर बहुत प्रस्सन हु तभी कुम्हारन ने कहा माँ तुम इसी गांव में निवास करो और उसके बाद सप्तमी को जो भी भक्त तुमपर ठंडा जल दही चढ़ाए गा उसी पर तुम अपनी कृपा करना जिस प्रकार तुमने मेरे ऊपर की है उसी दिन से उस गांव में माता ने अपना निवास किया और कहा मेरी पूजा का पहला अधिकार कुम्हार जाती होगा और उसी दिन से सप्तमी वाले दिन वहाँ माँ शीतला की पूजा होती है और सप्तमी वाले दिन बहुत बड़ा मेला भी लगता है और जो इस कहानी को पड़ता सुनता है माँ शीतला उसके घर की गरीबी को हमेसा के लिए दूर करती है ऐसी ही सच्ची कहानी पढ़ने के लिए निचे दिए गए लिंक पर क्लिक करे
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